लेखनी कहानी -12-Mar-2023 चोर की दाढ़ी में तिनका
शीर्षक-चोर की दाढ़ी में तिनका
लघु कथा
रामू और श्यामू दोनों एक सच्चे दोस्त हैं उन दोनों की मित्रता में बहुत ही घनिष्ठा थी। रामू बहुत ही होशियार और होनार व्यक्ति था लेकिन श्यामू आलसी व्यक्ति था। उसे मेहनत करना बिल्कुल पसंद नहीं था रामू दसवीं कक्षा पढ़कर शहर चला गया। श्यामू अकेला हो गया। श्यामू को बुरी संगति ने जकड़ लिया था। इसके कारण उसे पैसों का अभाव होने लगा। पैसों की वजह से वह चोरियां करना आरंभ कर दिया। छोटी-छोटी चोरियाॅं करने लगा। छोटी चोरियों से जब फायदा नहीं हुआ तो वह शहर की ओर चल दिया। शहर में बड़े-बड़े घर को लूटने लगा। एक दिन वह एक सेठ के घर चला गया अपने दोस्त के साथ वहां पर चोरी करने लगा। जब घर में आवाज हुई तो घर का मालिक उठकर नीचे आया तो देखा देखकर वह अचंभित हो गया । और श्यामू भी देख कर मुंह नीचे कर लिया और मुंह शर्म से लाल हो गया। क्योंकि जिस घर में चोरी करने गया वह उसके बचपन के दोस्त का घर था। दोस्त ने उससे कहा आज अपने ही दोस्त के घर में चोरी करने आ गया। चोर की दाढ़ी में तिनका जैसा हाल है तेरा। आज तू अपनी नजरों में स्वयं लज्जित हो गया है। तभी श्यामू कहता है यार आज मुझे सबक मिला और मेरी आंखें खुल गई है आज के बाद मैं कभी चोरी नहीं करूंगा और मेहनत से चाहे मुझे एक टाइम भूखा रहना पड़े लेकिन मैं मेहनत का ही खाऊंगा।
शिक्षा-इस कहानी से हमें यह शिक्षा मिलती है कि हमें कभी भी चोरी नहीं करनी चाहिए। सदा अच्छे मार्ग पर चलना चाहिए और मेहनत करके ही कमाना चाहिए।
लेखिका
प्रियंका भूतड़ा प्रिया
Sushi saxena
14-Mar-2023 08:12 PM
Nice
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Varsha_Upadhyay
13-Mar-2023 06:14 PM
बेहतरीन
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सीताराम साहू 'निर्मल'
13-Mar-2023 04:06 PM
शानदार
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