Archana Tiwary

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वादा

सनम कभी तुम्हें अकेला 

       छोड़ नही सकती
वादा जो किया है 
       साथ निभाने का
उस वादे को मैं 
      तोड़ नही सकती
कृष्ण राधा का प्रेम देख 
              उम्र गुजारी है
कुछ कुछ राधा सी बन
       अपने कान्हा को लुभाती हूँ
बाँसुरी बन अधरों पर जा तेरे
             ।खुद में ही शरमा जाती हूँ
     मोरपंख सा हौले हौले
स्पर्श तुम्हारा
                 तरंगित कर 
उल्लास की निदियां में 
             डुबोजाता है
मैं तुम्हे अकेला 
       छोड़ नही सकती
अंतिम सांस तक का 
            वादा किया है
वादे को अब मैं 
       तोड़ नही सकती
अर्चना तिवारी
बरोडा,गुजरात



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