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पूर्णिका




पूर्णिका


मेरी ज़िन्दगी की वो रखता खबर है।
कहें लोग उसको वो बड़ा बेखबर हैं।

मेरी ज़िन्दगी मैं दिया उसने सबकुछ,
जिधर देखता वह ,न आता नजर है।

विश्वास जिनको सदा रहता उन पर,
उसी की हमेशा वो रखता फिकर है।

अपने छोटों का ख्याल रक्खे हमेशा,
बड़ों की कृपा से तू हुआ कामगर है।

अच्छा करोगे तो पाओगे भी अच्छा,
यही सीखिए इसका अच्छा असर है।

अनजान लोगों से ,रखिए मुहब्बत,
मुहब्बत से मिलता सदा हमसफ़र है।

स्वरचित 
डॉक्टर आर बी पटेल अनजान
 छतरपुर।



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8 Comments

बहुत सुंदर सृजन

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Punam verma

28-May-2023 08:59 AM

Very nice

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Abhinav ji

28-May-2023 08:17 AM

Very nice 👍

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