Add To collaction

इंसानियत की मांग

इंसानियत की मांग
***************

इंसानियत की मांग है,
मान लीजिए।
दर्द है मानवता का ,
ठान लीजिए।

मानवता मर रही है,
सब देख लीजिए।
भ्रूण हत्याएं हो रही नित,
इनको बचा लीजिए।

कन्या को नहीं बचाया, तो
इंसानियत मर जाएगी ।
मानव जैसा जीव फिर,
तलाश लीजिए।

बृद्ध पिता घर में तड़पता,
पुत्र मनमानी करें।
श्रृद्धा सम्मान शून्य हो रहा,
अब ध्यान दीजिए।

समानता का गला घोट,
स्वार्थ में सब लिप्त हैं।
समता सहानुभूति को अब,
अपना लीजिए।

इंसानियत की मांग है,
मां ममता मानवता में।
ईष्र्या द्वेष घृणा छोड़ ,
इंसानियत अपना लीजिए।

स्वरचित
डा रामभरोसा पटेल "अनजान"
छतरपुर म प्र

   4
2 Comments

Gunjan Kamal

07-Nov-2023 09:25 AM

👏👌

Reply

Punam verma

07-Nov-2023 07:45 AM

Very nice👍

Reply