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अपने हृदय में बसा ले प्रभु श्री राम जी

अपने हृदय में बसा ले प्रभु श्री राम जी

प्रभु श्री राम जी सर्वव्यापी है
जैसा दिखता है नीलांबर
श्रद्धा और भक्ति प्रभु जी के प्रति नही है तो
यह मानव जीवन बेकार है।
कितने ही रूपों में विराजित है प्रभु जी
फिर भी उसे कहते हैं निराकार
भवसागर पार जाना है तो सज्जनों
राम नाम ही है आधार
अपने हृदय में बसा ले प्रभु श्री राम जी।
कुछ खोने पाने का गम न कर
भक्तों का सहारा है प्रभु श्री राम जी
सभी को प्यास हो धर्म परायणता की
सभी को प्यास हो कर्म परायणता की
कामयाबी तेरा इस्तेकबाल करेगा
अपने हृदय में बसा ले प्रभु श्री राम जी।
भक्तों पर रखते है वत्सल का भाव
नही रहता है कोई कमी और जीवन में अभाव
सब पर बरसती है प्रभु श्री राम जी की कृपा
जिसने भी किया है सुमिरन प्रभु श्री राम जी।
अपनो में ही और दुनिया में ही फंसा न रह
अरमानों की सड़क बहुत लंबी है यदि प्रभु जी को सच्चे मन से याद करें तो
बदल जाते है जिंदगी के मायने
अपने हृदय में बसा ले प्रभु श्री राम जी
अपने हृदय में बसा ले प्रभु श्री राम जी


नूतन लाल साहू

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6 Comments

सुन्दर सृजन

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Rupesh Kumar

22-Dec-2023 04:09 PM

V nice

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Alka jain

22-Dec-2023 12:54 PM

Nyc

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