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कामिनी भाग 25

"हां,,,सर,,,,जब मैं 10 साल की थी,,,तब एक चोटी चुड़ैल,,,मेरी चोटी काट कर ले गई थी,,,तब से आज तक मेरी चोटी नहीं बड़ी,,,,स्कूल में सभी,,,मेरी कटी हुई चोटी का मजाक उड़ाते थे तो मैंने,,,नकली चोटी लगाना शुरू कर दिया"! पारुल ने बताया

"चेतन चुड़ैल की जानेमन की चोटी,,,चुड़ैल चुरा कर ले गई,,,बताओ कौन है,,,वह चुड़ैल"? "अभी उससे तुम्हारी,,,, चोटी वापस लेकर आता हूं"! चेतन ने कहा

"पता नहीं,,,वह कौन थी और कहां से आई थी,,मैं खुद उसकी तलाश कर रही हूं,,,अगर मिल गई तो उसकी ऐसी हालत करूंगी की जिंदगी भर याद रखेगी"! पारुल ने गुस्से से कहा

"मैं,,,,तुम्हें जितनी साधारण और डरपोक लड़की समझता हूं,,,तुम बिलकुल वैसी नहीं हो,,,तुम भी पूरी तरह अजीब और खास हो,,,हमारी जोड़ी खूब जमेगी"! यह कह कर चेतन फिर पारुल के पास जाने लगा पर इस बार पारुल,,,वहां से भाग गई और उसने दूर जाकर कहा

"सर,,,आज चुड़ैलों के साथ,,,आपकी शादी है,,,शादी की तैयारी करो,,,यह सब करने के लिए तो पूरी जिंदगी पड़ी है"!

"हां,,,,मुझे याद है,,,,तुम सभी गांव वालों को इकट्ठा करो,,मैं,,,गुरुदेव से मिलकर आता हूं"! चेतन ने जाते हुए कहा

चेतन गुरुदेव के पास आता है,,,,गुरुदेव कामिनी नदी के किनारे,,,ध्यान में बैठे हैं

"प्रणाम गुरुदेव"! चेतन ने हाथ जोड़कर,,,प्रणाम करते हुए कहा

गुरुदेव ने धीरे से आंखें खोली और कहा

"आज तुमने अपनी नपुंसकता के श्राप से मुक्ति पाकर,,,अपनी पहेली तो सुलझाली,,,अब कामिनी की पहेली कैसे सुलझाओगे,,,,चेतन चुड़ैल"? गुरुदेव ने कहा

"जैसे मेरी समस्या सुलझाई है,,,वैसे ही कामिनी की समस्या भी सुलझा दूंगा,,,,वैसे मुझे उसेश बेचारी,,कामिनी पर बहुत दया आती है,,,क्योंकि उसके साथ बहुत बुरा हुआ है,,,प्यार में धोखा खाई,,लड़कियों को प्यार से समझाना चाहिए"!

"तुमने,,,उससे मिलन के बाद,,,स्नान किया या नहीं,,,मुझे लगता है,,,अभी तक उसके स्पर्श की सुगंध,,,तुम्हें,,,,उसके प्रति मोहित कर रही है,,,जिस कामिनी को तुम,,,दया के योग्य समझ रहे हो,,,,वह कामिनी ऐसी जहरीली नागिन है जो अपने अंडों को जन्म देते ही निगल जाती है,,,बस फर्क इतना है की नागिन अपने बच्चों को निगलती है और कामिनी अपने प्रेमियों को तुम,,,पहले स्नान करके आओ,,,उसके बाद हम चर्चा करते हैं"! गुरुदेव ने कहा

"कोई अच्छा साबुन हो तो दीजिए,,,आज मेरी शादी है,,,नदी में जाकर सारे पाप धोना है और मैंने सुना है कामिनी नदी के पानी से खून की बदबू आती है"! चेतन ने कहा

"हर नदी के दो तट होते हैं,,,उस तरफ के तट में रक्त मिश्रित है,,,इस तरफ के तट का जल शुद्ध है,,,तुम इस तट पर स्नान करो और इस जड़ी बूटी को शरीर पर लगाना,,,यह साबुन से साबुन से उत्तम है"! गुरुदेव ने जड़ी बूटी देते हुए कहा

"चेतन ने जड़ी बूटी उठाई और नदी में आकर कूद गया और नहा कर वापस,,,गुरुदेव के पास आया,,,गुरुदेव ने अपनी शक्ति से दूल्हे की पोशाक,,,प्रकट की ओर वह सभी सामग्री भी जो दूल्हे को तैयार होने में लगती है,,,चेतन ने आकर देखा,,,गुरुदेव सारी तैयारी करके बैठे हैं,,,फिर गुरुदेव ने चेतन को दूल्हे की तरह सजाया,,,,तब गुरुदेव ने पूछा

"क्या तुम्हें,,,शादी के लिए पंडित की आवश्यकता है?

"ग्यारह रुपये देकर,,,किसी को भी पंडित बना दूंगा,,शादी तो होगी नहीं तो पंडित का क्या काम, ,पर दिखाने के लिए पंडित को ले जाना पड़ेगा"!  चेतन ने कहा

"क्या तुम शादी नहीं करोगे तो फिर क्या करोगे"? गुरुदेव ने आश्चर्य से पूछा

"जो भी करूंगा,,कहूंगा नहीं,,,क्योंकि कह दिया तो कर नहीं पाऊंगा,,,,वही देख लेना,,,मेरा आज का कांड"! चेतन ने कहां

"इस युद्ध में मुझे,,,क्या करना होगा"? गुरुदेव ने पूछा

"कुछ मत करना,,,,बस यही कर लेना"! चेतन ने कहां और गुरुदेव ने उसे आश्चर्य से देखा

फिर दोनों स्टेशन पर आए,,,चेतन को दूल्हा बना देख,,,पारूल,,,रेलवे स्टाफ और गांव वाले आश्चर्य में पड़ गए,,,तब चेतन ने घोड़ी पर बेठकर,,,,सबको संबोधित करते हुए,,,दबंग आवाज में कहा

"आज आप सभी मेरे बाराती नहीं,,,,एक युद्ध के योद्धा हो,,,इसीलिए यह बात याद रखना कि आज हमें एक युद्ध लड़ना है,,,,यह युद्ध मुझ,,,अकेले का नहीं है,,,आप सभी गांव वालों का भी है,,,,क्योंकि आप सभी के घर के चिराग या तो कमीनी की दुनिया में गुलाम है या फिर कामिनी और उसकी 1000 सखियों,,,पिशाचीनियों के शिकार हो चुके हैं,,,अगर अपने जवान बच्चों का,,,अपने भाइयों का,,,अपने परिजनों का बदला लेना चाहते हो और कामपुर नगर को इन,,,पिशाचीनियों से मुक्त कराना चाहते हो तो आप सबको,,,,यह युद्ध लड़ना होगा"!

वहां खड़े सभी बुजुर्ग,,,महिला पुरुष जवान युवतियों और बच्चों ने चेतन चुड़ैल की बात सुनी और एक स्वर में कहा

"हम तुम्हारे साथ हैं,,,,हम तुम्हारे साथ हैं"!

चेतन ने गुरुदेव से कहा

"गुरुदेव,,,,अपना चमत्कार दिखाओ और इन बुढ्ढो को जवान बनाओ"!

गुरुदेव ने अपने कमंडल से अपनी हथेली पर जल लिया और उस जल को मंत्र से अभिमंत्रित कर,,,उन गांव वालों पर फेंका,,,कुछ ही क्षणों में वह सभी वृद्ध और बच्चे युवक बन गए,,,अपने आप को युवा बना देख सभी गांव वाले,,, अपने आप को आश्चर्य से देखने लगे,,,तब चेतन ने कहा

"बुड्ढो ओर बच्चों इतने खुश मत होओ,,,क्योंकि तुम मे यह जवानी का जोश,,केवल 4 घंटे के लिए डाला गया है,,,उसके बाद बुड्ढे फिर बुड्ढे हो जाएंगे और बच्चे के बच्चे बन जाएंगे,,,केदारनाथ जी इन सबको,,,चुडैलो को बेहोश करने वाला स्प्रे बांट दो"!

फिर उन सभी लोगों को चुडै़लो बेहोश करने वाला,,,विशेष स्प्रे बांटा गया फिर चेतन ने सबको संबोधित कर कहा

"तुम सभी युवा लड़कों के पीछे पिशाचिनीया,,,ऐसे पड़ जाएगी,,,जैसे फूलों के पीछे तितलियां पड़ जाती है,,,तुम्हें उन पिशाचिनीयो की दी हुई,,,कोई भी चीज नहीं खाना है और ना हीं उनके साथ कोई गलत काम करना है,,,भले कितना भी मन करे,,,वह पिशाचिनीया तुम्हें,,,उनके सुंदर योवन दिखाकर,,,कितना भी विवश करें,,,तुम्हें उनके झांसे में नहीं आना है और सिर्फ मेरे इशारे की प्रतीक्षा करनी है,, जैसे ही मैं,,, अपने स्प्रे का उपयोग कामिनी और रात्रि पर करूंगा,,,वैसे ही उसी वक्त,,,तुम्हें भी अपने साथ वाली पिशाचीनियों पर स्प्रे का प्रयोग करना है"! चेतन ने योजना बताते हुए कहा

"उसके बाद क्या करना है"? गुरुदेव ने पूछा

"उसके बाद,,,,,उसके बाद बताऊंगा"! चेतन ने कहा

"अभी क्यों नहीं,,बता सकते"?गुरुदेव ने पूछा

"अभी बता दिया तो कोई कुछ नहीं कर पाएगा,,,हम हार जाएंगे,  क्योंकि इस योजना की गुप्तता ही इसकी सफलता का प्रमाण है"! चेतन ने कहा

"अगर आज तुम,,,असफल हुए तो यह सभी गांव वाले  मौत मारे जाएंगे,,,इन सभी की मृत्यु का जवाबदार कौन होगा,,,अगर तुम,,,मुझे अपनी योजना बता दोगे तो मैं,,,तुम्हारी सहायता कर सकता हूं,  क्योंकि मेरे पास में दिव्य शक्तियों का भंडार है"! गुरुदेव ने चेतन की योजना पर असहमति जताते हुए कहा

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5 Comments

HARSHADA GOSAVI

06-Jan-2024 09:34 AM

👌👌👌👌

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Khushbu

27-Dec-2023 02:50 PM

V nice

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Gunjan Kamal

25-Dec-2023 11:10 PM

👏👌

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