बंधन
माँ से संस्कार मिले,
विवाह एक ऐसा बंधन है,
जिसे ताउम्र निभाना पड़ता है।
कई समझौते करने पड़ते हैं,
अपने अस्तित्व को नकारना पड़ता है,
विवाह को जिंदा रखने के लिए,
कभी-कभी खुद को मारना पड़ता है।
शुरू-शुरू में तकलीफ होती है,
फिर आदत पड़ जाती है।
इस बंधन से मुक्ति मरणोपरांत ही मिल पाती है।
लेकिन सबके साथ ऐसा नहीं होता
कुछ प्रेम के बंधन में बंधते हैं,
कुछ बंधन रुपी जंजीरों में।
और जंजीरें तोड़ने का साहस
हर महिला कहाँ कर पाती है?
सोनिया जाधव
#लेखनी प्रतियोगिता
#लेखनी
Tribhuvan Gautam
25-Aug-2022 08:22 PM
Bahut khoob
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ऋषभ दिव्येन्द्र
29-Oct-2021 01:01 PM
जबरदस्त 👌👌
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Niraj Pandey
29-Oct-2021 12:33 AM
बहुत खूब
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