Payal vaya

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सुबह

एक दिन ऐसी सुबह आयेगी। सबके चेहरे फिर से खिलखिलायेगे     ।फिर से खुशियाँ  छायेगी। ऐसी सुबह आयेगी। आज दुनिया इतनी सिमट गई,सब मिलने  को तरस रहे हैं । अपनो को अपनो की याद आएगी । फिर से पंछी गाएँगे  भँवरे गुन गुनाएगे। इतने दिनो से अंधेरा छाया,अंधेरे को  मिटाकर ,कोरोना को हराकर  फिर से भारत जितेगा। फिर सब पहले जैसा हो जाएगा । पर अपनो को पास न ला पाएगा। जिन्हें खो दिया  जिन्हें इस अंधेरे ने हम से छीन  लिया । क्या  वो  वापस ला पायेगा। क्या नई सुबह हो पाएगी। क्या सच मे नई सुबह हो पाएगी।।।                 

        

 नाम-पायल वया 

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