Sushi Saxena

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फसल

प्रतियोगिता

फसल 

फसल के रूप में, धरती के सीने में।
मेहनत किसानों की, लथपथ पसीने में।

किसानों का रोजगार है फसल,
उन्नति का संचार है, फसल
सिर्फ भूख मिटाने का जरिया नहीं,
जीवन का आधार है, फसल

लहलहाती फसलें अमूल्य धन है
मिट्टी को सोना करने का जतन है
जो ये फसल उगेगी नहीं, साहिब
तो कल कहां बचेगा ये जीवन है

अच्छे भविष्य का है सुंदर सपना
अच्छी फसल से, धरती का हर कोना
ये किसानों का हम पर एहसान है
बढ़ाती फसल है भारत की गरिमा

किसानों की आश, अच्छी फसल हर महीने में।
हर जरूरत को पूरा करती, हमारे जीने में।

( स्वरचित एवं मौलिक )
सुशी सक्सेना इंदौर मध्यप्रदेश


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10 Comments

Seema Priyadarshini sahay

29-May-2022 11:27 PM

बेहतरीन

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Joseph Davis

28-May-2022 07:36 PM

Nyc

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Shnaya

28-May-2022 03:03 PM

बेहतरीन

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