माँ
मां
✍️ श्याम सुन्दर बंसल
हर बार दुःखो का हंसकर सामना करती है
अपनी तकलीफ कभी जाहिर नहीं किया करती हैं
चाहे हो कितनी भी मुश्किल घड़ी
मेरी माँ मुझे हमेशा साथ खड़ी मिला करती है ।
हमको नौ-नौ महीनों तक अपने गर्भ मे रखती है
हर दुःख हमारे लिए हंसकर सहती है
गर्भ में अगर बच्चा लात मारे फिर भी वह दर्द मे हंसती है
कोई बताए मुझको मां क्यो ऐसी होती है।
बच्चो को तकलीफ मे देखकर तड़प उठती है
बेटा क्या हुआ क्यो उदास हो यह बोल उठती है
अपनी सारी खुशी एक तरफ रखकर
मां अपने बच्चो के लिए लड़ने को तैयार हो उठती है।
कोई बताए मुझको मां क्यो ऐसी होती हैं।
जब घर पर सबकी हिम्मत जवाब दे जाती हैं
मां ही एक ऐसी होती हैं जो सबकी हिम्मत बनती है
चाहे खुद क्यो न अंदर से टुट जाए
लेकिन मां खुद टुटकर भी अपनो की हिम्मत बढा़ती है।
बच्चो के लिए प्यार मां की रिती है
इस संसार में कौन ऐसा होगा जीसको यह न भाति है
हम तो अपने मां के प्यार के भुखे है
जरा हमसे पुछो उनकी अनुपस्थिति हमे कितनी खलती है।
कोई बताए मुझको मां क्यो ऐसी होती हैं
गलत करने पर डाटती है गुस्सा हो जाती हैं
मुझसे अब बात न करना यह भी कहती है
जब उसका बच्चा न दिखे एक छन
तो वह मन ही मन खुद को कोश उठती है
कोई बताए मुझको मां क्यो ऐसी होती हैं।
अपने बच्चो के लिए खुद के सपनो को कुर्बान कर देती है
दुःख मे किसी कोने में जाकर चुपके से रो भी लेती है
अपनी हर खुशी सबके साथ बाटती है
और गम को अपने तक रखती है
कोई बताए मुझको मां क्यो ऐसी होती हैं।
Niraj Pandey
17-Aug-2021 06:39 AM
बहुत खूब👌
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Seema Priyadarshini sahay
17-Aug-2021 05:26 AM
बहुत खूबसूरत
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Miss Lipsa
17-Aug-2021 04:57 AM
Nice
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