Sunita gupta

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स्वैच्छिक,जीवन एक संघर्ष

स्वैच्छिक 

जीवन एक संघर्ष है ।
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संघर्ष से ही दुनिया चलती है ,
बिना संघर्ष के कोई सफलता ,
हासिल नही कर पाता भैया।
एक रोटी पाने के लिय इंसान ,
न जाने क्या क्या कदम उठा ,
लेता है जीवन को नया आयाम ।
देने के लिए मजदूरी हर एक ।
काम भी करना पड़ता है।
कोई भी मनुष्य कार्य करेगा,
उसमे भी संघर्ष करना ही पड़ेगा ।
बिना संघर्ष किए मंजिल तक ,
नही पहुंचोगे भैया।
संघर्ष ही जीवन को खुशियां,
भी प्रदान करती हैं।
और मानव जीवन को खुशहाल बनाकर ,नई पहचान भी देती है ।
जीवन मे जिसने संघर्ष किया ,
उसने सब कुछ हासिल कर लिया ।
इसलिए सुनीता कहती है ।
कि संघर्ष ही जीवन है ।
स्वरचित ,,सुनीता गुप्ता ।कानपुर उत्तर प्रदेश

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9 Comments

Swati chourasia

22-Sep-2022 04:38 PM

बहुत ही सुंदर रचना 👌

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Wahhh बहुत ही खूबसूरत और संदेश देती हुई कविता है,,,, लाजवाब लाजवाब लाजवाब

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Milind salve

21-Sep-2022 09:54 PM

शानदार

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