आया समस बड़ा बेढंगा

आया समय बडा बेढंगा ।
मैली हो गयी पावन गंगा। 

1

कलियुग की है कला न्यारी।
बिना दाम के है व्यापारी ।
अपनी ठपली अपने राग हैं ।
भ्रम के पीछे रहे हैं भाग हैं ।
पालनहार को करते नंगा
आया समय बडा बेढंगा ।

2

आज समय की चाल देखिये।
बुरा हुआ है  हाल देखिये।
किसी वेबस को पाल देखिये।
उसका अजब कमाल देखिये ।
जाने वह कब कर दे दंगा  ।
आया समय बडा बेढंगा ।

3

ॠषियों का यह देश है बेशक।
किन्तु निरक्षर हैं उपदेशक ।
देता ज्ञान गुरु को चेला।
मचा है चहुँदिश ठेलम ठेला।
कभी किसी से लो न पंगा ।
आया समय बडा बेढंगा ।

4

हे हरि अपने देश में आऔ।
चाहे किसी  भेष में आऔ।
राम राज फिर देश में लाऔ।
विनोदी अपना देश बचाऔ।
हर मानुष हो जाये चंगा ।
आया समय बडा बेढंगा ।


विनोदी महाराजपुर


विन

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8 Comments

Suryansh

16-Oct-2022 06:47 PM

एकदम सटीक और यथार्थ चित्रण

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Suryansh

16-Oct-2022 06:47 PM

लाजवाब लाजवाब

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Ilyana

13-Oct-2022 07:39 PM

Nice

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