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हिंदी कहानियां - भाग 44

अकबर के शाही दरबार में अनेक दरबारी ऐसे भी थे, जो सदैव बीरबल को नीचा दिखाने की योजना बनाते रहते थे। सरदार मुल्ला दो प्याजा एक ऐसा दरबारी था, जिसने बादशाह अकबर का विश्वास जीत लिया था। मुल्ला जी बादशाह अकबर के साथ बहुत घुल-मिल गए थे। एक सुबह बीरबल दरबार में पहुँचा। बादशाह अकबर उसे देखकर बोले “बीरबल, मुझे तुम्हारी पगड़ी बाँधने का तरीका बहुत पसंद आया। यह बहुत व्यवस्थित तरीके से कसकर बँधी है और तुम पर बहत सुंदर लग रही हे।’ अपनी पगड़ी की प्रशंसा बादशाह के मुँह से सुनकर बीरबल ने बादशाह को धन्यवाद दिया। लेकिन बीरबल की पगडी की प्रशंसा सुनकर मुल्ला दो प्याजा को ईष्र्या हो गई। वह बोला ‘पगड़ी बाँधने मे ऐसा अच्छा क्या है? मैं बीरबल से अधिक अच्छी प्रकार से पगडी बाँध सकता. बाँध सकते हो?” बादशाह बोले। अगले दिन सभी दरबारी यह देखकर चकित हो गए कि मुल्ला दो प्याजा ने सचमुच बहुत ही अच्छी तथा व्यवस्थित पगड़ी बाँध रखी है। मुल्ला उस पगड़ी में बहुत सुंदर लग रहा था। जब बादशाह अकबर दरबार में पहुँचे, तो उन्होंने भी मुल्ला की पगड़ी की तारीफ की। वे बोले ‘मुल्ला जी, तुम्हारी पगड़ी तो सचमुच बीरबल की पगड़ी से अधिक अच्छी प्रकार से बँधी है!” परंतु बीरबल बीच में टोकते हुए बोला “रुकिए, महाराज! मैं यह मानता हूँ कि मुल्ला की पगड़ी सचमुच मेरी पगड़ी से अधिक अच्छी बँधी है।


लेकिन यदि यह स्वयं मुल्ला ने बाँधी है, तो हमारा अनुरोध है कि वह उसे दरबार में खोलकर दोबारा सबके सामने बाँधकर दिखाएँ। मुल्ला ने पगड़ी खोली और खोलकर दोबारा अपने सिर पर लपेटने लगा। उसने पहले की तरह अच्छी तथा व्यवस्थित पगड़ी बाँधने की बहुत कोशिश की, परंतु वह उतनी अच्छी पगड़ी नहीं बाँध सका। यह देखकर सभी दरबारी चकित होकर आपस में फुसफुसाने लगे कि, “यह क्या गड़बड़ है, मुल्ला दो प्याजा अपनी पगड़ी क्यों नहीं बाँध पा रहा है। कहीं यह घबरा तो नहीं गया है या इसकी पगड़ी किसी और ने बाँधी थी।” बीरबल बोला “महाराज, मुल्ला जी मुझसे अच्छी पगड़ी कभी-भी नहीं बाँध सकते। दरअसल आज इनकी पगडी उसकी पत्नी ने बाँधी थी। इसलिए वह इतनी सुंदर लग रही थी। इसलिए यह चुनौती मुल्ला जी की पत्नी ने जीती है न कि स्वयं मुल्ला जी ने।” इस पर बादशाह अकबर ठहाका “मुल्ला जी, यह तो सचमुच अच्छा मजाक हो गया। जिस समस्या का समाधान तुम न कर सके, उसका समाधान तुम्हारी पत्नी ने कर दिखाया।” यह सुनकर मुल्ला बहुत शर्मिदा हुआ। उसने प्रतिज्ञा की कि भविष्य में वह कभी बीरबल की किसी भी बात के लिए चुनौती नहीं देगा।

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