स्वतंत्रता दिवस पर गीत
आज हम हो गए पूर्णतः स्वतंत्र।
देश में छाया है गणतंत्र।
तंत्र को मिलो एक ही मंत्र।
कि घर अनजानी ।
कटी दास्तान की जंजीरें कटी रात काली।
घड़ी शुभ आई है। बड़ी सुखदाई है।
1
मांगे मांगत मांगत कितनी सूनी भाई मांगे।
मां से मां की ममता छूट सली लौह सांगें।
कितने कुटुंभ कुबान।
लड़ाई लड़ी होरी जान।
कर गए जान मान विषपान।
शान है जिनकी निराली ।
जात लड़ाई हित बने मोनियों मन रई दीवाली।
घड़ी शुभ आई है। बड़ी सुखदाई है।
2
भगत बोस आजाद तिलक न देई कुर्बानी।
गौरन हां पानी मंगवा गई झांसी की रानी।
गोखले बिस्मिल वीर महान।
जानवे जिनको सकल जहान।
बापू ने दीनों नयो विहान
भये हम बड़े भाग्यशाली।
कल्प कल्प की पूर्ण कल्पना किन्हीं कपाली
घड़ी शुभ आई है। बड़ी सुखदाई है।
3
करो नहीं अनसुनी कबहूं जब भारत माँ तेरे।
आंखेंफोर दो तुम दुश्मन की जौनबुरयें हेरें ।
सहो मां पै अत्याचार।
बनो ना इतने तुम लाचार।
कमर कस हो जाओ तैयार।
उगे तब भाग्य अंशुमाली ।
परहित में मन स्वीकृत कर लो शंकर सी प्याली।
घड़ी शुभ आई है। बड़ी सुखदाई है।
4
सोचो तनक देश के लाने ऐसे ना टारो।
सदा प्रगति पर आगे बड़वे अपनो देश प्यारो।
देश को करो पुनरुत्थान।
उचारो सदा जागृति गान।
विनोदी रावे ऊँची शान।
रहे ना कोई सवाली।
सबई सुखी सम्पन्न रहने का कोई हाथ खाली।
घड़ी शुभ आई है। बड़ी सुखदाई है।
विनोदी महाराजपुर
Renu
27-Jan-2023 04:08 PM
👍👍🌺
Reply
डॉ. रामबली मिश्र
27-Jan-2023 11:21 AM
, शानदार प्रस्तुति 👌🙏🏻
Reply