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आज राधा जी बेचैन हैं फूटें मुख से ना कोई बैन हैं सूज गई रो रोकर अंखियां व्याकुल हो रही सारी सखियां ढूंढें ललिता ढूंढें विशाखा छान मारा सबहीं तो इलाका ...