राजा की रानी

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राजलक्ष्मी ने चिन्ता के स्वर में कहा, “सब कुछ देख तो रही हूँ, पता नहीं क्या व्यवस्था करेंगे! पर मैं फिक्र न करूँ और वे करें? चलो, थोड़ा-सा खाकर सो जाना। ...

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