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शीर्षक- फौजी होते वीर रोला छंद फौजी होते वीर ,देश रक्षक कहलाते। पर्वत जैसा धीर, सभी दुख वो सहजाते।। करते हम अभिमान, देश के हैं मनमौजी। करें देश उत्थान, चले हैं ...