1 Part
329 times read
15 Liked
जेठ माह देखो आया, वट सावित्री व्रत लाया। सुहागन का मन हर्षाया।। करके सोलह श्रृंगार, पति का सजता प्यार। आयी खुशियों की बहार।। वट पीपल के करती पूजा, पति बिन नहीं ...