दान

1 Part

283 times read

15 Liked

कन्यादान  ये कैसा दान? नजरें झुकी हैं दानी की, याचक सीना ताने खड़ा!! अद्वितीय अमूल्य दान, नहीं कद्र इस दान की! बिन खाए खर्चे, पाई-पाई जोड़े! कर्ज के बोझ तले तात ...

×