लेखनी कहानी -07-Feb-2024

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ऐ ज़िन्दगी अब तुझे ढो रहा हूँ ! मुस्कराते हुए भी तो रो रहा हूँ !! चलते चलते बहुत दूर आ गया ! ऐ साकी अब मौत का हो रहा हूँ ...

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