पहली नज़र (ग़ज़ल)

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मत पूछ कि आई है क़यामत ये कहाँ से,  उफ़, ले गयी मुझको ये मुहब्बत भी जहाँ से।  ऐ नर्गिस- ए -निगाह बस तेरी ही कमी है,  बहलाएं तुझसे छूट के ...

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