पहाड़ियों की सर्पिली सड़कों को रौंदते हुए अनि मसूरी की ओर बढ़ता चला जा रहा था, इस वक़्त उसके चेहरे पर कोई भाव नजर नहीं आ रहे थे। अरुण उससे बेवजह ...

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