गीता स्मृति

1 Part

214 times read

8 Liked

गीता स्मृति जिंदगी में आए थे तुम, बन गुलाबी फूल से। एक हीरा पा लिया था, गांव की उस धूल से। प्रीत की अनुभूति देकर, हो गए अनुकूल से। भूल पाया ...

×