तारे आसमा

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आ ले चालू तुझे तारों ke शहर me  धरती पे दुनियां हमें प्यार ना करने देगी......  तारे आसमां पे साजे रहे मेरी आँखो मे सपना बनकर बसें रहे, निहारा करती थी ...

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