ठिठुरन में नव वर्ष

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समय पुराना बीत गया, धूँध से सहम रीत गया, कहीं बाढ़ की आफत आयी, महामारी ने छीना सब हर्ष, आया है ठिठुरन में नव वर्ष। कुंठित मन का आस है झेला, ...

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