उपन्यास-गोदान-मुंशी प्रेमचंद

121 Part

136 times read

1 Liked

गोदान--मुंशी प्रेमचंद मगर अभी शायद उनके दुःख का प्याला भरा न था। जो कुछ कसर थी, वह लड़की और दामाद के सम्बन्ध-विच्छेद ने पूरी कर दी। साधारण हिन्दू बालिकाओं की तरह ...

Chapter

×