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... सोफिया-विनय, मुझे अभी विवश न करो, मैं तुम्हारी हूँ। मैं इस वक्त यह बात जितने शुध्द भाव और निष्कपट हृदय से कह रही हूँ, उससे अधिक किसी मंदिर में, कलीसा ...