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मोक्ष मार्ग का पथिक हूँ जिन्दगी से अनजान बढता चलूँ, चलता चलूँ बिना थके बिना रुके मुसाफिर हूँ यही मेरी पहचान अनंत बाधाएं राहों में क्षणिक भी ना भटके मन विचलित ...