बरसे बरसे मेरी अंखियाँ लेखनी प्रतियोगिता -29-Oct-2022

1 Part

317 times read

18 Liked

बरसे बरसे मेरी अंखियाँ बरसे बरसे मेरी अंखियाँ जैसे बदरिया काली घनघोर हृदय विदारक तेरी जुदाई गम से हुआ मैं सराबोर पास बचा था आँसू का कतरा निकल पड़ा वह भी ...

×