कल्पना

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............... कल्पना ............... आज की प्रतियोगिता वास्ते मुझे तो अपनी कल्पना के वितान मे तुम्हारे सिवा और को छहई नज़र नहीं आता,, तुम ही तो छाई हो मेरे हृदय मे,मस्तिष्क मे ...

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