जज्बात
मुश्किल है लिख पाना
जब बात अपनों की हो
कुछ जज्बात बयां नहीं होते
जब साथ अपनों का हो
परिवार पर जान लुटाना
हसते हसाते दर्द छुपाना
एक पिता ही जाने
अपने जज्बातों पर काबू रख पाना
बच्चों की खिलखिलहाट देख माँ भी खुश हो जाती
पूरे दिन की थकान चुटकियों में गुम हो जाती
जज्बातों को शब्दों में कहा कह पाती
प्यार का खजाना बच्चों पर जो लुटा ती
मात पिता के त्याग और बलिदान को
मुश्किल है लिख पाना
डांट कर भी प्यार करना
अपने जज्बातों को छुपाना
खामोशी से सब सह जाना
नामुमकिन है कह पाना
जब बात अपनों की हो ...।।
Sangeeta charan
19-Aug-2021 09:23 AM
Very nice🌹🙏
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Sapna shah
19-Aug-2021 02:36 PM
Thank u
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Shilpa modi
19-Aug-2021 06:10 AM
बहुत बढिया
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Sapna shah
19-Aug-2021 06:41 AM
Thank you
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Sapna shah
19-Aug-2021 02:36 PM
Thank you
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Niraj Pandey
18-Aug-2021 02:55 PM
वाह बहुत खूब👌
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Sapna shah
19-Aug-2021 06:41 AM
Thank u
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