1 Part
243 times read
9 Liked
चल सकता हूँ इस दुनियां की आग में, यहाँ इतना धुँआ नहीं है। और जब जब हाथ रखा है माँ ने सिर पे, मुझे किसी भी मुसीबत ने छुआ नहीं है।। ...