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मोहब्बत जिससे हमने की है गद्दारी नहीं की। हमेशा हक बयानी की है मक्कारी नहीं की। फाकों में गुजारी जिंदगी मैंने फकीरी की। कलम को बेचकर मैंने तरफदारी नही की। वतन ...