लेखनी कविता - लड्डू ले लो -माखन लाल चतुर्वेदी

56 Part

51 times read

0 Liked

लड्डू ले लो -माखन लाल चतुर्वेदी  ले लो दो आने के चार  लड्डू राज गिरे के यार  यह हैं धरती जैसे गोल  ढुलक पड़ेंगे गोल मटोल  इनके मीठे स्वादों में ही ...

Chapter

×