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मेरे नयना ******** नयना निर्झर बरस रहे हैं जैसे बदरा बरसैं सावन। पिया मिलन को तरस रही सूना है सब घर आंगन।। उपवन में अलि घूम रहे हैं कोयल मधु गीत ...